Baglamukhi jayenti

*1 मई को बगलामुखी जयंती पर माँ को कैसे करें प्रसन्न* 1 मई को बगलामुखी जयन्ती वैशाख शुक्लपक्ष की अष्टमी तिथि शुक्रवार अश्लेषा नक्षत्र गण्ड योग में मनाई जाएगी। अष्टमी तिथि का प्रारंभ 30 अप्रैल दोपहर 2:39 बजे से 1 मई को दोपहर 1:27 बजे तक रहेगा। वैशाख शुक्ल अष्टमी को देवी बगलामुखी का अवतरण दिवस कहा जाता है जिस कारण इसे मां बगलामुखी जयंती के रूप में मनाया जाता है। देवी बगलामुखी तंत्र की देवी मानी गई है। इनका दूसरा नाम पीताम्बरा देवी भी है। इन्हें पीला रंग अतिप्रिय है। देवी बगलामुखी दसमहाविद्या में आठवीं महाविद्या हैं यह स्तम्भन की देवी हैं। माता बगलामुखी की शत्रुनाश, वाकसिद्धि, वाद विवाद में विजय के लिए इनकी उपासना की जाती है. इनकी उपासना से शत्रुओं का नाश होता है तथा भक्त का जीवन हर प्रकार की बाधा से मुक्त हो जाता है। *मां बगलामुखी पूजन घर मे ही रहकर कैसे करें* माँ बगलामुखी की पूजा हेतु इस दिन प्रात: काल उठकर नित्य कर्मों में निवृत्त होकर, पीले वस्त्र धारण करने चाहिए। साधना अकेले में, या किसी सिद्ध पुरुष के साथ बैठकर की जानी चाहिए। पूजा करने के लिए पूर्व दिशा की ओर म...